कैस्टर ऑयल के कई फायदे है स्किन यानी त्वचा के लिए, आइए इसके बारे में विस्तार से जानने की कोशिश करते हैं।
क्या है अरंडी

अरंडी का तेल एक वनस्पति तेल है, जो अरंडी की फलियों, रिकिनस कम्युनिस पौधे के बीजों से निकाला जाता है। इसके बीजों में 40 से 60 प्रतिशत तेल होता है। दिलचस्प बात यह है कि यह एक रंगहीन या हल्के पीले रंग का तरल पदार्थ होता है, जिसका स्वाद और गंध विशिष्ट होती है। बता दें कि अरंडी के तेल का उपयोग लगभग 1550 ईसा पूर्व एबर्स पेपिरस में प्रमाणित है और यह कई शताब्दियों पहले से उपयोग में था। 19वीं शताब्दी के मिडवाइफरी मैनुअल में अरंडी के तेल और 10 बूंदों लॉडानम का इस्तेमाल किया गया था। अरंडी के तेल का पोषण मूल्य अद्वितीय है, क्योंकि इसके 90 प्रतिशत फैटी एसिड रिसिनोलेइक एसिड नामक पदार्थ से बने होते हैं, जो काफी दुर्लभ है। यह पदार्थ त्वचा में अच्छी तरह अब्सॉर्ब हो जाता है और त्वचा संबंधी समस्याओं जैसे डर्मेटोसिस, सोरायसिस और मुंहासों के उपचार के लिए फायदेमंद है। यह एसिड छोटी आंत में अरंडी के तेल के टूटने पर भी बनता है, जिससे पाचन में मदद मिलती है। अन्य एसिड में ओलिक एसिड, लिनोलिक एसिड, डायहाइड्रॉक्सीस्टीयरिक एसिड शामिल हैं। इसमें विटामिन ई, ओमेगा 6 और ओमेगा 9 प्रचुर मात्रा में होते हैं। नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ के अनुसार, विटामिन ई सेल्स की आयु बढ़ाता है और पुरानी सेल्स को फिर से भरने में मदद करता है, जिससे उम्र बढ़ने के लक्षणों से लड़ने में मदद मिलती है। ओमेगा 6 एक आवश्यक पोषक तत्व है, जिसका अर्थ है कि इसे आपके आहार के माध्यम से प्राप्त किया जाना चाहिए।
एक्ने की समस्या से छुटकारा
आपको यह बात आश्चर्य में डाल सकती है, लेकिन मुंहासों पर इस तेल को लगाना अच्छा होता है, जी हां, यह त्वचा में गहराई तक जाकर मुंहासों का कारण बनने वाले बैक्टीरिया को दूर करने की कोशिश करता है। इसे कैसे इस्तेमाल करना है, अगर यह बात करें, तो चेहरे के पोर्स को खोलने के लिए अपने चेहरे को गुनगुने पानी से धो लेना है और फिर अपनी हथेलियों पर अरंडी के तेल की कुछ बूंदें लेनी हैं और इसे अपनी हथेलियों पर समान रूप से फैला लेना है। फिर इसे धीरे-धीरे और आराम से अपने चेहरे पर गोलाकार गति में मलें।
इसे रात भर लगा रहने दें। अगली सुबह अपने चेहरे को ठंडे पानी से धो लें।
मॉइस्चराइज करता है स्किन

त्वचा पर अरंडी के तेल के लाभों में इसके मॉइस्चराइजिंग और एंटीऑक्सीडेंट गुण भी शामिल हैं। इसमें मौजूद राइसिनोलेइक एसिड के कारण, यह त्वचा की सेल्स को फिर से भरने में भी मदद कर सकता है। इसलिए इसके इस्तेमाल करने की जरूरत होती है और इसे इस्तेमाल करना चाहिए। एक गाढ़े एमोलिएंट के रूप में, अरंडी का तेल त्वचा में नमी को रोक लेता है, जिससे यह बहुत शुष्क या पपड़ीदार त्वचा के लिए एक रात भर का प्रभावी उपचार बन जाता है।
सूजन को घटाता है
अरंडी के तेल में मौजूद रिसिनोलेइक एसिड चिड़चिड़ी त्वचा को आराम पहुंचा सकता है और मुंहासे और रोसैसिया जैसी स्थितियों से जुड़ी सूजन को कम कर सकता है। इसलिए भी इसका इस्तेमाल करने की सलाह दी जाती है। इसका जरूर इस्तेमाल करना चाहिए।
प्राकृतिक चमक
गौरतलब है कि कैस्टर ऑयल प्राकृतिक चमक को बढ़ावा देता है औ रात भर लगा रहने देने पर, अरंडी का तेल त्वचा को अधिक चमकदार, मुलायम और बेहद पोषण से भर देता है और शानदार बना देता है, इसलिए भी इसका इस्तेमाल करना अच्छा रहता है।
एकसमान स्किन

अरंडी के तेल को त्वचा की रंगत को एक समान करने और दाग-धब्बों को दूर करने के लिए इस्तेमाल करने की सलाह देते हैं कई त्वचा विशेषज्ञ। जी हां, इसमें मौजूद ओमेगा 3 त्वचा को नमी प्रदान करते हैं। यह स्वस्थ कम्पाउंड के विकास में मदद करता है। इसलिए भी इस तेल का इस्तेमाल काफी किया जाता है।
स्ट्रेच मार्क हटाता है
कैस्टर ऑयल का सबसे ज्यादा फायदा यह है कि यह स्ट्रेच मार्क्स को हटाने में मदद करता है, क्योंकि इसमें फैटी एसिड होते हैं, जो त्वचा की फ्लेक्सिबिलिटी को बढ़ाते हैं, जिससे स्ट्रेच मार्क्स होने की संभावना कम हो जाती है। बता दें कि स्ट्रेच मार्क्स के लिए, आप बराबर मात्रा में नारियल या आर्गन तेल का घोल बनाकर प्रभावित जगह पर लगा सकती हैं। कुछ दिनों के नियमित इस्तेमाल से फर्क आपको दिखने लगेगा।
कैस्टर ऑयल के नुकसान

ऐसे तो यह ऑयल अच्छा होता है, लेकिन इसके कुछ-कुछ नुकसान भी हो जाते हैं। जैसे क्लॉग्स बंद हो जाते हैं या फिर इसकी मोटी बनावट पोर्स को बंद कर सकती है, इससे मुंहासों की समस्या बढ़ सकती है और त्वचा में जलन या एलर्जी की समस्या हो सकती है, साथ ही साथ यह चेहरे में रेडनेस को बढ़ा देता है और इससे खुजली, सूजन या दाने जैसी दिक्कतें होती हैं।
लगाने का सही तरीका
अपने चेहरे पर अरंडी का तेल लगाने से पहले, अपने अंडरआर्म्स हिस्से पर थोड़ी मात्रा लगाएं और किसी भी प्रतिकूल प्रतिक्रिया की जांच के लिए 24 घंटे प्रतीक्षा करें। फिर अरंडी के तेल की कुछ बूंदें किसी हल्के वाहक तेल, जैसे जोजोबा या मीठे बादाम के तेल में मिलाएं, ताकि यह कम गाढ़ा हो और पोर्स के बंद होने की संभावना कम हो जाए। शुरुआत में या कभी भी इस तेल की बहुत कम मात्रा का ही प्रयोग करें, क्योंकि इसकी कुछ मात्रा ही आपके लिए काफी है और आपके पूरे चेहरे पर लगाने के लिए पर्याप्त हैं। तो अधिक लगाने से कई बार आपको जलन की भी समस्या हो सकती है, साथ ही तेल के सभी निशान हटाने के लिए सुबह अपने चेहरे को किसी सौम्य क्लींजर से धोना भी न भूलें और इन सबसे परे, एक महत्वपूर्ण काम जो आपको करना है कि अनावश्यक मिलावट से बचने के लिए, शुद्ध और कोल्ड-प्रेस्ड अरंडी के तेल का उपयोग करना है।