एलोवेरा का नाम बीते एक दशक में हर ब्यूटी प्रोडक्ट से लेकर मेडिसिन से जुड़ चुका है। इसकी वजह स्वास्थ्य और सौंदर्य से जुड़े इस पौधे के अनेक फायदे हैं। जेल हो या इसका जूस यह हर रूप में असरकारक है। यही वजह है कि हजारों साल पुराने आयुर्वेद में इसे औषधि कहा गया है। आइए जानते हैं इसके ढेर सारे गुणों को
मुंहासों रखता है दूर
शुद्ध एलोवेरा जेल में लगभग 75 सक्रिय तत्व होते हैं, जिनमें अमीनो एसिड, सैलिसिलिक एसिड, लिग्निन, विटामिन, खनिज, सैपोनिन और एंजाइम शामिल हैं, जो एक्ने की रोकथाम में कारगर होते हैं। खासकर सैलिसिलिक एसिड तो हर एक्ने की मेडिसिन का भी अहम तत्व होता है। एलोवेरा में एंटी बैक्टीरियल गुण होते हैं, जो मुंहासे पैदा करने वाले बैक्टीरिया को नियंत्रित करने और कम करने में मदद करते हैं। एलोवेरा में एलोइन पाया जाता है, जो त्वचा की डेड स्किन को खत्म करता है और यह बात सर्वविदित है कि डेड स्किन पिम्पलस को बढ़ावा देते हैं। एलोवेरा में म्यूकोपॉलीसेकेराइड होते हैं, जो त्वचा में नमी को बरकरार रखते हैं, जिससे त्वचा अतिरिक्त ऑयल प्रोडक्शन को नहीं करती है, जिससे एक्ने के ब्रेकआउट होने की वजह भी कम हो जाती है।
रिंकल्स को करें कम

उम्र बढ़ने के साथ तो कभी गलत लाइफस्टाइल की वजह से अक्सर चेहरे पर झुर्रियां पड़नी शुरू हो जाती है। इन झुर्रियों को कम करने के लिए कभी हमें महंगे ट्रीटमेंट करवाने पड़ते हैं, तो कभी महंगी ब्यूटी क्रीम को इस्तेमाल में लाना पड़ता है, लेकिन इसका इलाज हमारे घर में उगने वाले एलोवेरा में आसानी से पाया जाता है।
एक रिसर्च के अनुसार एलोवेरा में स्टेरोल नामक अणु होते हैं। ये स्टेरोल्स कोलेजन और हाइलूरोनिक एसिड के उत्पादन को बढ़ावा देते हैं, जो त्वचा को नमी बनाए रखने में मदद करता है, जिसकी वजह से चेहरे की झुर्रियां कम नजर आती हैं। एलोवेरा के 18 अमीनो एसिड, बी1, बी3, बी6 और विटामिन सी झुर्रियों का कारण बनने वाले तत्वों को त्वचा में रोकता है। इसमें मौजूद म्यूकोपॉलीसेकेराइड त्वचा में नमी को बरकरार रखते हैं, जिससे झुर्रियां कम विकसित होती हैं। एलोवेरा में हाइलूरोनिक एसिड के उत्पादन को ट्रिगर करके त्वचा को मॉइस्चराइज कर सकता है, जो हाइड्रेट करता है और त्वचा को कोमल बनाता है। एलोवेरा का यह गुण भी चेहरे से झुर्रियों को दूर रखता है।
जलने-कटने पर भी है असरदार

यह सिर्फ चेहरे और बालों की खूबसूरती ही नहीं बढ़ाता है, बल्कि दर्द और घाव पर भी अपने असीमित गुणों की वजह से असरदार है। एलोवेरा जेल में कूलिंग गुण होते हैं और यह एंटी-इंफ्लेमेटरी है। इसलिए, यह सनबर्न या जली हुई त्वचा के लिए सबसे प्राकृतिक उपचारों में से एक है। इस जेल को लगाने से त्वचा के लिए एक सुरक्षात्मक परत बनने में मदद मिलती है, और यह नमी बनाए रखने में भी मदद करता है। यह एंटी-ऑक्सिडेंट और खनिजों से भरपूर होता है जो हीलिंग प्रक्रिया को बढ़ावा देता है। आप छोटे-मोटे कटने-छिलने पर, चोट लगने या किसी कीड़े के काटने से होने वाले जलन पर भी एलोवेरा जेल लगा सकती हैं। आप चाहें तो एलोवेरा जेल को घाव पर भी लगा सकती हैं। एलोवेरा में साइटोकेमिकल्स भी होता है, जिससे चोट जल्दी ठीक हो जाती है और यह दर्द को भी कम करता है।
बालों के लिए है वरदान
एलोवेरा जेल त्वचा के साथ-साथ बालों के लिए फायदों का खजाना है। दरअसल,एलोवेरा में कई ऐसे सक्रिय तत्व और मिनरल्स होते हैं, जो आपके बालों को मजबूत बनाने में मदद कर सकते हैं। यह फैटी एसिड और अमीनो एसिड के साथ -साथ विटामिन ए, बी12, सी और ई से भरपूर होता है। ये बालों के फॉलिकल्स को मजबूत बनाने में अहम भूमिका निभाते हैं, जिससे बालों का झड़ना कम हो जाता है।
तैलीय स्कैल्प को भी एलोवेरा जेल कंट्रोल करता है। एलोवेरा में एंजाइम होते हैं, जो वसा को तोड़ते हैं और इसलिए आपके बालों से अतिरिक्त तेल (सीबम) को हटा देते हैं। तैलीय स्कैल्प ही नहीं, बल्कि एलोवेरा स्कैल्प की खुजली को दूर करने में मदद करता है, जो रूसी का कारण बनती है। एक रिसर्च की मानें, तो इसमें पाए जाने वाले फैटी एसिड में एंटी-इंफ्लेमेटरी और एंटी-बैक्टीरियल गुण होते हैं, जो डैंड्रफ, खुजली से बालों को निजात दिलाते हैं। इसके साथ ही साथ एलोवेरा एक प्राकृतिक हेयर कंडीशनर है, जिसके मौजूद तत्व सूर्य की हानिकारक किरणों से बालों को डैमेज होने से भी बचाता है।
पाचन में भी है फायदेमंद

यह शरीर को सिर्फ बाहर से ही नहीं, बल्कि अंदर से भी खूबसूरत बनाता है। दरअसल, सारी बीमारियों की शुरुआत पेट से होती है, अगर आपका पाचन ठीक नहीं है, तो शरीर भी ठीक से काम नहीं करता है और पाचन में एलोवेरा बेहद असरदार है।
एक रिसर्च के अनुसार, एलोवेरा जूस के अतिरिक्त पाचन लाभ हो सकते हैं, जैसे कि पेट के अल्सर की घटनाओं को कम करना और पाचन में सुधार करना। एलोवेरा जूस में कई एंटी-इंफ्लेमेटरी कंपाउंड, जैसे विटामिन सी जैसे तत्व मौजूद होते हैं, जो पाचन प्रक्रिया में प्रभावी योगदान कर सकते हैं, जो लोग समय-समय पर कब्ज से परेशान रहते हैं, वह एलोवेरा जूस का उपयोग कर सकते हैं। एलोवेरा के बाहरी हिस्से में एंथ्राक्विनोन नामक कंपाउंड होते हैं, और यह कब्ज के लिए बहुत फायदेमंद होता है। हाल के वैज्ञानिक आंकड़े बताते हैं कि एलोवेरा में एक लाभकारी प्रीबायोटिक घटक मौजूद हो सकता है हैं। हम सभी इस बात से परिचित हैं कि प्रीबायोटिक घटक पाचन तंत्र में लाभकारी बैक्टीरिया के विकास को उत्तेजित कर सकता है, जो पाचन में बहुत लाभदायक होता है।
इम्यून को भी है बढ़ाता
कोरोनावायरस महामारी के बुरे वक्त ने हमें इम्यूनिटी शब्द से ही नहीं बल्कि इसकी अहमियत से भी रूबरू करवाया था। इसी इम्यून के लिए बूस्टर का काम भी एलोवेरा कर सकता है। जानकारों की मानें तो एलोवेरा जूस इम्यून सिस्टम को बूस्ट करने में बेहद मददगार है। इसके सेवन से पीएच स्तर में सुधार आता है। औषधीय गुणों से भरपूर एलोवेरा विटमिन, मिनरल्स और एंटी-ऑक्सिडेंट्स के गुणों से भरपूर होता है, जो ना सिर्फ हमारी सेहत में सुधार कर सकता है बल्कि हमारी इम्यूनिटी में भी सुधार करता है। एलोवेरा जूस बॉडी से टॉक्सिन निकालने का काम भी करता है। शरीर में कई ऐसे विषैले पदार्थ होते हैं, जिनका शरीर से बाहर निकलना जरूरी होता है, क्योंकि इससे इम्यून सिस्टम को मजबूती मिलती है।
तो एलोवेरा जेल बहुत ही फायदेमंद और सुरक्षित माना जाता है, क्योंकि यह पूरी तरह से प्राकृतिक उत्पाद है, लेकिन इसके बावजूद आप इसके इस्तेमाल से पहले इसका पैच टेस्ट अपने हाथों में करना ना भूले, कुछ घंटों के लिए एलोवेरा का जेल अपने हाथों पर लगाकर छोड़ दें, अगर किसी तरह की खुजली या रैशेज के निशान नहीं आते हैं, तो आप एलोवेरा जेल को अपने हेल्थ के साथ -साथ अपने ब्यूटी टिप्स में शामिल कर सकती हैं।
सबसे ज्यादा पूछे जाने वाले सवाल
क्या हम एलोवेरा को रोजाना चेहरे पर लगा सकते हैं?
हां,आप एलोवेरा जेल को रोजाना चेहरे पर लगा सकती हैं और दिन में दो बार भी लगा सकती हैं।
क्या इससे त्वचा की रंगत भी निखरती है?
हां, क्योंकि एलोवेरा में एलोइन के नाम से जाना जाने वाला एक लोकप्रिय और प्राकृतिक कंपाउंड होता है। यह यौगिक प्रभावी रूप से त्वचा की खामियों जैसे काले धब्बे और पैच को मिटाता है और मृत त्वचा को भी खत्म करता है, जिससे आपकी त्वचा की रंगत को निखरती है।